आज, 22 मार्च 2025 को, राजधानी दिल्ली के यमुना बाजार इलाके में एक विवादास्पद घटना सामने आई है। यहाँ प्रशासन ने सुबह करीब 4:30 बजे एमसीडी (म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन ऑफ दिल्ली) और पीडब्ल्यूडी (पब्लिक वर्क्स डिपार्टमेंट) की टीमों के साथ मिलकर सवा सौ साल पुराने सिंदूरी गणेश मंदिर और काली मंदिर पर बुलडोजर चला दिया। स्थानीय लोगों का दावा है कि इन मंदिरों का निर्माण 1902 में हुआ था और ये उनकी आस्था और इतिहास का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं।
मुख्यमंत्री दीदी @gupta_rekha आपको मंदिर तोड़ने के लिए मुख्यमंत्री बनाया गया है क्या ?
— कल्पना श्रीवास्तव
प्राचीन श्री चौमुखा महादेव मंदिर जमुना बाजार दिल्ली -6 pic.twitter.com/To0TOys4ji(@Lawyer_Kalpana) March 22, 2025
जैसे ही मंदिरों को तोड़े जाने की खबर फैली, लोगों में गुस्सा भड़क उठा और उन्होंने सड़कों पर उतरकर विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। प्रदर्शनकारियों ने प्रशासन के इस कदम को उनकी धार्मिक भावनाओं पर हमला बताया। हालाँकि, प्रशासन की टीम चौमुखी महादेव मंदिर को तोड़ने में असफल रही, लेकिन उसकी बाउंड्री वॉल को नुकसान पहुँचाया गया। इस घटना से पहले इलाके में मौजूद झुग्गियों को एक सप्ताह पहले हटाया गया था, जिसे लोग इस कार्रवाई से जोड़कर देख रहे हैं।
इस मामले में अभी तक प्रशासन की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है कि यह कार्रवाई किस आधार पर की गई, लेकिन लोगों का कहना है कि उन्हें पहले से कोई सूचना नहीं दी गई थी। विरोध प्रदर्शन जारी है और स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है।